केदारनाथ के गौरीकुंड में तेज बारिश के बाद पहाड़ी से आया मलबा अपने साथ दो ढाबे और एक खोखा बहा ले गया। इनमें रह रहे 19 लोगों में तीन के शव बरामद हो चुके हैं, जबकि 16 अन्य लापता हैं। इन सभी के मंदाकिनी में बहने की आशंका जताई जा रही है। गुरुवार देर शाम से ही केदारघाटी में भारी • बारिश शुरू हो गई थी।रात करीब 11:15 बजे गौरीकुंड बाजार से 500 मीटर पहले डाट पुलिया के पास पहाड़ी से पहले भूस्खलन हुआ और कुछ ही क्षणों में तेजी से आया मलबा अपने साथ सड़क किनारे के दो ढाबे और एक खोखा बहा ले गया। मलबा और पानी इतने तेज गति से आया कि ढाबों सो रहे व्यक्तियों को भागने का मौका तक नहीं मिला। सड़क का लगभग 15 से 20 मीटर हिस्सा भी मलबा अपने साथ बहा ले गया।हादसे के स्थान से लगभग 50 मीटर नीचे मंदाकिनी है। लापतालोगों के नदी में बहने की आशंका जताई जा रही है। हादसे केआसपास 16-17 अन्य ढाबें व दुकानें हैं। सुलभ इंटरनेशनलके एक मजदूर ने पुलिस को हादसे की सूचना दी। कुछ देरबाद गौरीकुंड से एसडीआरएफ की यूनिट मौके पर पहुंची,लेकिन पहाड़ियों से लगातर गिर रहे बोल्डर के चलते रेस्क्यूअभियान शुरू नहीं हो पाया।सूचना मिलने पर जिलाधिकारी सौरभ गहरवार, एसपी विशाखा अशोक भदाणे व आपदा प्रबंधन अधिकारी नंदन सिंह रजवार मौके पर पहुंच गए। जबकि एसडीएम ऊखीमठ जितेंद्र वर्मा, सेक्टर अधिकारी गौरीकुंड मनोज सजवाण, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और पुलिस की टीम मयः उपकरण के रेस्क्यू में जुटी है। दोपहर 12 बजे एसडीआरएफ व पुलिस ने खाई से तीन शव बरामद कर लिए थे, जबकि अन्य को पता नहीं चला है। बरामद शवों की अभी शिनाख्त नहीं हो पाई है। सर्च एवं रेस्क्यू जारी है।एक परिवार के सात लोग लापता इस हादसे में एक ही परिवार के सात लोग भी शामिल हैं, जिसमें अमर बोहरा उसकी पत्नी औप पांच बच्चें शामिल हैं। ये सभी नेपाल के रहने वाले हैं और यात्रा सीजन पर मजदूरी करने आए थे अमर बोहरा एक ढाबा चला रहा था।बारिश से रेस्क्यू अभियान बाधित: लगातार हो रही बारिश के चलते रेस्क्यू टीम के सामने परेशानी खड़ी हो रही। पहाड़ी पर कई बोल्डर फंसे हैं, जिनके कभी भी नीचे गिरने का खतरा बना है। ऐसे में एसडीआरएफ और पुलिस के जवान जान जोखिम में डालकर रेस्क्यू में जुटे हैं। वहीं, जेसीबी भी मलबा नहीं हटा पा रही है।केदारनाथ यात्रा रोकी • सड़क का 15 से 20 मीटर का एक तरफ का हिस्सा टूटने से केदारनाथ यात्रा रोक दी गई। शुक्रवार को एक भी यात्री सोनप्रयाग से आगे रवाना नहीं किया गया। उधर, जिलाधिकारी गहरवार ने बताया को सड़क को दुरस्त करने का प्रयास किया जा रहा है।