उत्तराखंड मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ‘एक देश-एक चुनाव’ का रास्ता साफ करने के लिए तीन वर्ष पहले कुर्सी छोड़ने को तैयार हैं। धामी ने कहा- एक बार में चुनाव होने से विकास कार्यों में तेजी आएगी। खर्च भी बचेगा। एक भारत-श्रेष्ठ भारत के लिए, ‘एक देश-एक चुनाव’ प्रक्रिया सहायक सिद्ध होगी। देहरादून में ओल्ड मसूरी रोड स्थित हपात रीजेंसी में शुक्रवार को एक कार्यक्रम आयोजन किया गया।कार्यक्रम के उद्घाटन सत्र ‘प्रकृति का प्रगति पथ’ में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बतौर मुख्य अतिथि देश के विकास, प्रकृति और पर्यावरण समेत विभिन्न मुद्दों पर विचार रखे। कार्यक्रम में एक देश-एक चुनाव की पहल को लेकर पूछे सवाल के जवाब में सीएम धामी ने कहा कि पांच साल में एक बार चुनाव होने से देश को बहुत सुविधा होगी।अभी लोकसभा, विधानसभा, निकाय से लेकर पंचायत के चुनाव अलग-अलग समय पर होने से थोड़े-थोड़े अंतराल में सरकारी मशीनरी व्यस्त रहती है। इससे जहां विकास की प्रक्रिया प्रभावित होती है, वहीं खर्च भी बढ़ता है। ऐसे में एक भारत श्रेष्ठ भारत के निर्माण के लिए, एक देश-एक चुनाव की प्रक्रिया बहुत उपयोगी सिद्ध होगी।उत्तराखंड के लिहाज से बात करें तो क्या आप तय समय से तीन साल पहले एक साथ चुनाव के लिए तैयार होंगे? इस सवाल पर सीएम धामी ने बिना संकोच के जवाब दिया कि निश्चित तौर पर ऐसा होना चाहिए। बकौल धामी, मेरे लिए देश पहले आता है।दूसरे नंबर पर पार्टी और अंत में व्यक्ति आता है। ऐसे में देशहित में जो भी फैसला होगा, उसके सामने पद या व्यक्तिगत उपलब्धि के कोई मायने नहीं हैं, इसलिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ‘एक देश-एक चुनाव’ पहल का हर किसी को स्वागत करना चाहिए।देश का नाम भारत ही होना चाहिए: सीएम ने कहा कि सभी देशों का अंग्रेजी और उनकी मूल भाषा में एक ही नाम होता है इसलिए अपने देश का एक नाम ‘भारत’ ही ठीक है। विपक्ष इस पर बेवजह विवाद कर रहा है। विपक्ष द्वारा भारत नामकरण को उनके गठबंधन पर आधारित बताए जाने पर धामी ने कहा कि, विपक्ष का गठबंधन मूल रूप से यूपीए गठबंधन ही है।